
जो राष्ट्र का मंगल करें वही राम है- नंदिनी भार्गव
बड़भागी वन, अवध अभागी शिवपुरी शिवपुरी। ग्राम विलोकलाँ स्थित हनुमान मंदिर पर विगत 5 दिनों से चल रही नौ दिवसीय रामकथा में आज बड़े ही कारूणिक प्रसंग के साथ भक्त भाव विभोर हो गए श्रोताओं की आंखें नम हो गई। बाल योगी कथा व्यास नंदनी भार्गव ने बताया कि राघवेंद्र को वनवास दिया गया तब भी श्रीराम ने उसे सहर्ष स्वीकार किया क्योंकि राम ने केकई के संबंधों पर ध्यान दिया ना कि वचनों पर यही तो आदर्श है ,और आज हम केवल वचनों पर गौर करते हैं यह ध्यान नहीं देते कि यदि माता-पिता ने कटु वचन कह भी दिए तो क्या हुआ संबंध तो मां का है किंतु राम , राम राज्य के राजा हैं और वह सदैव जोड़ने का कार्य करते हैं तोड़ने का नहीं । पहले बैकुंठ से अयोध्या को जोड़ा फिर अयोध्या से जनकपुर और जनकपुर के बाद दंडकारण्य चित्रकूट यहां तक की लंका को भी जोड़ा क्योंकि राम का अर्थ है ,रा- राष्ट्र और, म- मंगल,जो राष्ट्र का मंगल करें वही राम है । आज की राम कथा में राम बनवास के प्रसंग को अपनी अश्रुपूरित आंखों से भक्तों ने आनंद लिया. हर दिन कथा मै श्रोताओं की उपस्थिति वढती जा रही है।

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