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धमाका डिफरेंट: जीत तो सितारों की होगी ये तो तय शुदा है, लड़ाई उनकी, हार अपनी तय शुदा क्यों है।

रविवार, 28 मार्च 2021

/ by Vipin Shukla Mama
अगर ये खूं नहीं तो लाश खूं आलूदा क्यों है
अगर ये कत्ल है हर कत्ल से जुदा क्यों है
जो शक के घेरे में हैं लाश को घेरे हुए है
जिस पर शक नहीं वह शख्स गुमशुदा क्यों है
लाश के सियापे पर शख्स कोई हंस रहा था
बाद में लगा रोने अदा यह बेहूदा क्यों है
हमारे दिल में जो ढलती तुम्हारी इबादत से
तब फिर सोचते बस्ती में मैकदा क्यों है
लाश के उठने पे जब इतने आंसू बह रहे थे
घर से हो रही तब लाश कि विदा क्यों है
होंठ तो कसे थे लेकिन लगा कुछ कहा तुमने
अगर तुम चुप ही थे तब आई ये सदा क्यों है
जीत तो सितारों की होगी ये तो तय शुदा है
लड़ाई उनकी हार अपनी तय शुदा क्यों है।
 परिचय
डॉ.कौशल किशोर श्रीवास्तव
जन्मतिथि: 15 सितंबर 1946
जन्म स्थान: विदिशा (म.प्र.)
प्रकाशित कृतियाँ
1. ट्यूबेक्टोमी एण्ड कास्टम (अंग्रेजी, 1980)
2. है प्यास अभी (गजल संग्रह)
3.सन्नाटा गहरा है, (गजल संग्रह)
4.आए न बालम (व्यंग्य संग्रह)
5.बाइज्जत बरी (व्यंग्य संग्रह)
6.हड़कंप (व्यंग्य संग्रह)
7.अखिलम, मधुरम (काव्य संग्रह)
8. प्रतिरोधक क्षमता (मेडिकल साइंस) 
9.  प्रति उत्तर(काव्य संग्रह)
10  मेरे सांई
11 गीता के औपनिषधिक आधार 
12 देशी-विदेशी विभिन्न पत्र-पत्रिकाओं में निरंतर लेख          प्रकाशित
सम्मान- पुरस्कारः विभिन्न शीर्ष स्तरीय संस्थाओं से पुरस्कृत एंव सम्मानित
सम्प्रति: 1.भूतपूर्व सदस्य: मानव अधिकार आयोग
            2.सदस्य:  किशोर न्यायपीठ,छिन्दवाडा
            3. शल्य चिकित्सक,
            4. सेवानिवृत्ति सीएमओ (मुख्य स्वास्थ्य एंव      चिकित्सा अधिकारी)                     
1  संरक्षक  - पत्रकारिता कोश मंच छिंदवाड़ा
2. उपाध्यक्ष - जिला रेडकास समिति सोसाइटी छिन्दवाड़ा       (म.प्र.)
3. आजीवन सदस्य इंडियन मेडिकल एसोसिएशन
4. मानव तंत्र मानव अधिकार आयोग 
अन्य -  स्वतंत्र लेखन   राष्ट्रीय पत्र-पत्रिकाओं में,
संपर्क - 171 नोनिया करबल, छिन्दवाड़ा (म.प्र.)
            पिन  480001
            मोबाइल 9424636145

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