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'धमाका श्रंखला': 'बच्चों' की 'शिक्षा' कितनी 'जरूरी', क्लिक प्लीज

मंगलवार, 15 जून 2021

/ by Vipin Shukla Mama
'आइये मिलकर करें हमारे साथ विचार'
शिवपुरी। आप सभी पाठकों के लिये हम एक नई श्रंखला की शुरुआत करने जा रहे हैं।  शिक्षा जैसे गंभीर विषय पर यह श्रंखला आधारित है। जिसके बिना बच्चों का भविष्य खतरे में पड़ सकता है। ऐसे में आवश्यक है कि चाहे जैसे भी हो वर्तमान हालातो के साथ ही बच्चों की शिक्षा शुरू की जाए। इस लिहाज से आने वाला शैक्षणिक सत्र बच्‍चों व पैरेन्‍टस के लिये महत्‍वपूर्ण है। कोविड-19 महामारी के दौर में निश्चित रुप से कई परिवारों ने अपनो को खोया है, उसकी भरपाई करना संभव नहीं। अब तीसरी लहर की भी बात हो रही है। साफ है कि हमको कोरोना के साथ ही जीने की आदत डालनी होगी। गत वर्ष मार्च में जब हमारे देश में इस महामारी को रोकने के लिये सख्त लॉकडाउन लगाया गया तो एक झटके में सभी सेक्टर में काम बंद हो गया। लगभग सभी व्यापारिक, आर्थिक, सामाजिक गतिविधिया ठप पड गईं। तब से लेकर कोरोना की दूसरी लहर में सबसे ज्यादा प्रभाव अगर किसी पर पडा है तो वह है हमारा भविष्य यानि हमारे बच्चो पर। आज लगभग डेढ साल से सभी बच्चे अपने ही घरो में कैद होकर रह गये हैं। जिन पर न तो सरकार का कोई ध्यान गया है और न ही पैरेन्टस का। दोनो की सोच सिर्फ बच्चो की जान बचाने व उनको बीमारी से दूर रखने तक सीमित है। जिसका उन्होने सीधा व सरल तरीका अपनाया है कि स्कूल बंद कर दो, बच्चो को स्कूल मत भेजो। परंतु इसमें सबसे ज्यादा नुकसान उन्हीं को हो रहा है। यदि आप आज के बच्चो की दिनचर्या व गतिविधियो को देखे तो आपको आसानी से हमारी बात समझ आ जायेगी। वर्तमान परिस्थिति में कोई भी देश या वैज्ञानिक ये दावे के साथ नही कह रहा है कि कोरोना जल्द ही खत्म हो जायेगा। बल्कि अब तो तीसरी लहर की भी बात होने लगी है। ऐसे में पैरेन्टस को अब गंम्भीरता से सोचना होगा कि उनका व्यापार, नौकरी जितनी जरुरी है, उतना ही बच्चो का भविष्य ? क्योकि हमारा भविष्य हमारे बच्चो की मजबूत नीव पर ही खडा हुआ है। यही वजह है कि हमारे द्वारा प्रारम्भ की जा रही इस श्रंखला का मुख्य उददेश्य सिर्फ इतना है कि अब आप इस महामारी से बाहर निकल कर अपने बच्चो के केरियर व भविष्य को लेकर भी सोचे। इस कैम्पेन यानि श्रंखला में हम एक -एक करके उन सभी बिन्दुओं पर प्रकाश डालेंगे जो बच्चो के मानसिक व व्यक्तित्व विकास व अच्छी शिक्षा के लिये जरुरी हैं। इसके लिए हम सुयोग्य शिक्षाविदों को भी मुहिम में शामिल करेंगे। उम्मीद करते हैं कि आप हमारे इस लेख को गम्भीरता से लेंगे और आगे आने वाले इसी विषय पर आधारित लेखों को भी गम्भीरता से पढ़कर उचित सलाह देंगे। 
तो हो जाइए तैयार
अपने सुझाव व कमेंटस के लिये आप हमारे नगर के ख्यातिनाम शिक्षाविद शाहिद खान  से उनके व्हाटसअप नम्बर (9826054575) व ई-मेल (radsvp@rediffmail.com ) पर संपर्क कर सकते हैं। जो इसमें केंद्रबिंदु रहेंगे। इस सीरिज में आगे हम आपके बच्चो की काउसलिंग के लिए भी एक चाइल्ड काउंसलिंग बोर्ड का गठन करेगे। जिसमे बोर्ड के सदस्यो  के नाम व मोबाईल नम्बर देगें ताकि आप उनसे भी सलाह ले सके।
सादर: विपिन शुक्ला, मामा का धमाका डॉट कॉम शिवपुरी। मोबाइल 9826211550

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