शिवपुरी। (नमन शर्मा की रिपोर्ट) दिनांक 23-07-2021 को प्रतिष्ठित क्लैट (कॉमन लॉ एडमीशन टैस्ट ) दोपहर 2 से 4 बजे तक पूरे देशभर में आयोजित कराया गया पर क्लैट 2021 गलतियों से भरपूर था।
राष्ट्रिय स्तर की परीक्षा में 10-12 प्रश्न ही गलत आए । प्रश्न क्रमांक 61,77,79,84,94,98,122,124,145,146,147,149 के जवाब विवादित है । क्वांटिटेटिव एप्टीट्यूड के तीन सैट ही बैंक पीयो एग्ज़ाम से कॉपी पैस्ट किए गए थे और उसमें भी डेटा गलत था ।
एक राष्ट्रिय स्तर की परीक्षा में इतनी गलतियाँ होना कई सवालों को जन्म देता है ।
अनफेयर काॅम्पिटीशन -
परीक्षा के इन्स्ट्रक्शन्स में साफ लिखा था कि छात्रों को परीक्षा के 10 मिनट पहले क्वैशन बुकलिट दी जाएगी और 2:00 बजे ही वे ओ एम आर शीट पर डीटेल्स भर सकते है पर कई केंद्रों पर छात्रों को परीक्षा के 10 मिनट पहले ही ओ एम आर शीट भरने दे दी गई और छात्रों को 10 मिनट अधिक मिले जबकि कई छात्रों को 10 मिनट कम मिले । ये 10 मिनट छात्रों को 1000-2000 रैंक तक निचे ला सकता है । क्लैट 2021 में किसी भी तरह का फेयर कॉम्पिटीशन नही था।
पैटर्न को नही किया फॉलो -
करेंट अफयर और लीगल रीज़निंग सैक्शन में सिलेबस को फॉलो नही किया गया । क्लैट का जब 2020 से पैटर्न बदला था तब से करेंट अफयर सैक्शन में स्टैटिक जीके हटा दी गई थी और केवल करेंट जीके पूछी जानी थी मगर क्लैट 2021 मे स्टैटिक जीके बहुत ज्यादा पूछी गई तो वही लीगल रीज़निंग सैक्शन में भी लीगल प्रायर क्नॉलेज की ज़रूरत नही थी और करेंट बैस्ड लीगल के प्रश्न पूछे जाने थे मगर क्लैट 2021 में लीगल के सभी प्रश्न लीगल क्नॉलेज पे बैस्ड थे ।
क्लैट में पैसेज की वर्ड लिमिट 450 वर्ड है मगर इस वर्ष 600 वर्ड का पैसेज भी पूछा गया जिससे पैपर काफी लैन्दी हो गया एवं कई छात्रों को पूरा समय भी नही दिया गया जब की कई छात्रों को अधिक समय मिला ।
एसे में छात्र अपनी उम्मीद के मुताबिक प्रदर्शन नही कर पाय और उनके प्रश्न छूट गए।
आंसर शीट भी विवादित -
परीक्षा संपन्न होने के बाद क्लैट कंसोर्शियम ने आंसर शीट अपलोड की जिसमें कई उत्तर विवादित थे । कई प्रश्नों के उत्तर गलत दिए गए एवं हर प्रश्न के उत्तर मैं किसी भी तरह का एक्सप्लेनेशन नहीं दिया गया I आंसर शीट में कई प्रश्नों के ऑप्शन बदले गए जिसकी वजह से छात्र काफी परेशान हैं एवं कंसोर्शियम की तरफ से किसी भी प्रकार की शिकायत को नहीं सुना जा रहा है।
ऑब्जैक्शन के ₹1000 प्रति प्रश्न -
क्लैट कंसोर्शियम की तरफ से कहा गया कि यदि किसी भी छात्र को किसी प्रश्न में असंतुष्टि है और वह अगर इस प्रश्न पर ऑब्जेक्शन उठाना चाहता है तो उसको ₹1000 प्रति प्रश्न चुकाने होंगे । आपको बता दें क्लैट परीक्षा का एप्लीकेशन फॉर्म ₹4000 का आता है जो कि पूरे भारत में सबसे महंगा है और उस पर भी ऑब्जेक्शन उठाने पर अब ₹1000 प्रति प्रश्न लिया जा रहा है जोकि काफी गलत है l ऐसे में कई गरीब छात्र अपने प्रश्न कंसोर्सियम से नहीं पूछ पाएंगे । छात्रों से उनके प्रश्न पूछने का अधिकार छीना जा रहा है।
कोविड प्रोटोकॉल की उडीं धज्जीयाँ -
क्लैट प्रवेश परीक्षा में कोविड-19 प्रोटोकॉल का बिल्कुल भी ध्यान नहीं रखा गया । केंद्रों के प्रवेश द्वार पर पैर रखने तक की जगह नहीं थी जबकि उनमें से कई छात्रों की उम्र 18 वर्ष से कम है एवं उनको वैक्सीन नहीं लगी है परंतु सोशल डिस्टेंसिंग की धज्जियां उड़ने से तीसरी लहर को यह बुलावा है । परीक्षा के पहले कंसोर्सियम की तरफ से यह आश्वासन दिया गया था कि कोविड प्रोटोकॉल का पूरा ध्यान रखा जाएगा एवं परीक्षा शुरू होने से पहले छात्रों को सैनिटाइज कराया जाएगा परंतु परीक्षा के दौरान कोविड-19 प्रोटोकॉल की धज्जियां उड़ गई एवं किसी भी तरह का सैनिटाइजेशन वहां पर छात्रों को नहीं कराया गया I कोरोना से बचने के लिए केंद्रों पर किसी भी तरह की व्यवस्था नहीं थी।
एक राष्ट्रीय स्तर की प्रवेश परीक्षा में इतनी गड़बड़ियां होना एवं कंसोर्सियम के द्वारा छात्रों की समस्या ना सुनने से छात्रों के भविष्य पर असर पड़ सकता है। कई छात्र साल भर मेहनत करते हैं तो कई छात्र ड्रॉप लेकर मेहनत करते हैं पर प्रवेश परीक्षा में ऐसी गड़बड़ियों की वजह से छात्रों की मेहनत पर पानी फिर जाता है। ऐसे में बच्चा बिना किसी मेंटल स्ट्रैस के कैसे परीक्षा देगा ? यह पहली बार नहीं है, क्लैट जब से कराया जा रहा है तब से हर साल कुछ ना कुछ गलतियां होती ही हैं जिसका असर छात्रों के भविष्य, उनके सपनों पर पड़ता है एवं कंसोर्शियम इन गलतियों को कभी नहीं स्वीकारता I ऐसे में सिर्फ और सिर्फ छात्रों का नुकसान होता है एवं उनकी परेशानी सुनने वाला कोई नहीं होता ।

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