Responsive Ad Slot

Latest

latest

कथा का समापन नहीं विश्राम होता है: नंदिनी भार्गव

सोमवार, 21 फ़रवरी 2022

/ by Vipin Shukla Mama
परमात्मा प्रेम से ही प्राप्त होते हैं
भगवान का नाम औषधि के समान होता है
शिवपुरी। ग्राम ककरवाया में स्थित श्री हनुमान मंदिर पर विगत 6 दिनों से चल रही श्रीमद भागवत कथा में पंडित वासुदेव नंदिनी भार्गव जी ने विश्राम दिवस की कथा को, भगवान श्री कृष्ण के अन्य सोलह हजार एक सौ आठ विवाहों की कथा का श्रवण कराते हुए बताया कि हमें कथा सुनकर लगता है ,भगवान ने इतने विवाह क्यों किए ? लेकिन याद रहे की भगवान ने उन युवतियों से विवाह किए, जिनको भौमासुर ने बंदी बनाकर रखा था एवं संसार ने जिनका त्याग कर दिया था उन युवतियों को भगवान ने स्वीकार किया, जिसका संबंध संसार से टूट जाता है ,भगवान सिर्फ उसी का वरण करते है । वह सब नारियां कलंकित थी कोई भी इन्हें नहीं स्वीकारता अतः बाद मे भगवान श्री कृष्ण की वंशावली सुनाते हुए बताया की सभी के यहा एक एक कन्या और दस दस पुत्र हुए ,मानो इन सभी रानियों ने दस पुत्रों के रूप मैं  दसों इंद्रियों को और कन्या रूपी एक मन को, भगवान को समर्पित कर दिया हो।

कोई टिप्पणी नहीं

एक टिप्पणी भेजें

© all rights reserved by Vipin Shukla @ 2020
made with by rohit Bansal 9993475129