बदरवास। भारत को गुलामी की जंजीरों से मुक्त कराने के लिए जिस वीरता और साहस से महारानी लक्ष्मीबाई अंग्रेजों से युद्ध करते करते अमरता को प्राप्त हो गईं उनका ये त्याग अविस्मरणीय है इसीलिए रानी लक्ष्मीबाई का नाम साहस, त्याग और शौर्य का पर्याय बन गया है। उक्त बात बदरवास के शासकीय मिडिल स्कूल बक्सपुर में महारानी लक्ष्मीबाई जयंती पर आयोजित कार्यक्रम में प्रधानाध्यापक गोविन्द अवस्थी ने कही।
कार्यक्रम का शुभारंभ रानी लक्ष्मीबाई के छायाचित्र पर पुष्पांजलि अर्पित कर दीप प्रज्वलन शिक्षक गोविन्द अवस्थी,जितेंद्र शर्मा,गंगा यादव ने किया। महारानी लक्ष्मीबाई के जीवन चरित्र से विद्यार्थियों को अवगत कराते हुए प्रधानाध्यापक गोविन्द अवस्थी ने कहा की रानी लक्ष्मीबाई ने अपनी अद्भुत शौर्य और युद्ध कौशल से अंग्रेजों के दांत खट्टे कर दिए थे। उनका राष्ट्र के प्रति त्याग और विराट व्यक्तित्व इतिहास में स्वर्णाक्षरों में दर्ज है। भारतमाता को आजाद कराने के लिए रानी लक्ष्मीबाई राष्ट्र के लिए अपना बलिदान देकर अमरता को प्राप्त हो गईं। वो साक्षात दुर्गा अवतार और वीरांगना थीं जिन्होंने युद्ध में अपनी तलवार का कौशल दिखाकर फिरंगियों के होश उड़ा दिए थे।आज लक्ष्मीबाई नाम वीरता और साहस का पर्याय और उदाहरण बन गया है।
शिक्षक जितेंद्र शर्मा ने बोलते हुए कहा कि हमें अपने महापुरुषों के बलिदान के बदले में आजादी मिली है इसीलिए महारानी लक्ष्मीबाई सहित सभी महापुरुषों और शहीदों के प्रति सदैव सम्मान और आदर भाव रखना चाहिए। इस अवसर पर उपस्थित सभी विद्यार्थियों ने रानी लक्ष्मीबाई के चित्र पर पुष्प अर्पित कर उन्हें नमन किया।

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