शिवपुरी। मध्य प्रदेश सरकार के पूर्व मंत्री और कांग्रेस के कद्दावर नेताओं में शुमार रहे स्व. #दाऊ_हनुमंत_सिंह_चौहान जी की पुण्यतिथि पर उन्हें श्रृद्धापूर्वक याद किया गया। उनके बेटे विजय सिंह चौहान जिला कांग्रेस कमेटी के अध्यक्ष हैं। उन्होंने भी अपने पूज्य पिता को श्रद्धा सुमन अर्पित करते हुए पूज्य पिताजी के जीवन पर प्रकाश डाला। उन्होंने कांग्रेस जनों से कहा कि करैरा विधानसभा से लगातार दो बार विधायक बनने वाले एकमात्र विधायक, शिवपुरी जिले का सर्वाधिक विकास करने वाले, मड़ीखेड़ा बांध परियोजना लाने वाले, पूर्व राज्य मंत्री कृषि एवं सिचाई दाऊ हनुमंत सिंह का जन्म 11 अक्टूबर 1926 को टोड़ा ग्राम में जमीदार ठाकुर श्रीगजराज सिंह चौहान के घर हुआ था। उनके पिताश्री तत्कालीन ग्वालियर राज्य की काउंसिल एवं कर कमेटी के सदस्य रहने के साथ पंचायत बोर्ड के 33 वर्षों तक अध्यक्ष रहे।
इंदिरा गांधी की गिरफ्तारी के विरोध में आंदोलन कर वह जेल गये। बाद में उन्हें मध्यप्रदेश कांग्रेस कमेटी का उपाध्यक्ष बनाया गया।
#दाऊ हुनमंत सिंह जी की प्रमुख उपलब्धियाँ
★1980-81 में सेना ने बबीना फील्ड फायरिंग रेंज की सीमा बढ़ाते हुये, पिछोर एवं करैरा की लगभग 50 से ज्यादा गांवों की भूमि अधिकृत करने का प्रस्ताव रखा था। अगर ऐसा होता, तो इन गांवों की 50,000 से ज्यादा आबादी को विस्थापित होना पड़ता। सैकड़ों मंदिर, कुए-तालाब, हजारों एकड़ कृषि भूमि व्यर्थ चले जाते। अनेक बार प्रयास करने के बाद उन्होंने मुख्यमंत्री अर्जुन सिंह के साथ, इंदिरा गांधी से मुलाकात कर उन्हें इस गंभीर स्थिति से अवगत कराया। इंदिरा गांधी के हस्तक्षेप के बाद, सेना ने इस भूमि पर अधिग्रहण रोक दिया। इतना ही नहीं कई अन्य उपलब्धियां भी उनके नाम दर्ज हैं।
शिवपुरी जिले में नहरों में, उकायला एनीकट, मोहनी पिकअप वीयर से दाई तट नहर, दो-आब नहर (बांई तट नहर), उड़वाहा प्रस्ताव भी उनके प्रमुख कार्य था।
★शिक्षा- नवोदय विद्यालय नरवर (पनघटा) , कन्या उ.मा.विद्यालय नरवर, करैरा महाविद्यालय सहित ग्रामीण क्षेत्रों में सैकड़ों विद्यालयों की स्थापना की।
★स्वास्थय- मगरौनी अस्पताल, 25 नये स्वास्थ्य केन्द्र , करैरा में नर्सिंग ट्रैनिंग सेण्टर बनाना।
★ग्रामीण विकास- ग्रामीण क्षेत्रों में करीब 200 नये पंचायत भवन , गांवो एवं कस्बों का खरंजाकरण, नालियों, कुओं , रपटा-पुलियोंका बड़े स्तर पर निर्माण। आदि जैसे सकड़ौ विकास कार्यों से वह शिवपुरी जिले में विकास की गंगा लाने वाले भागीरथ कहे जाते थे। पूरे क्षेत्र के लोग उन्हें सम्मान से दाऊसाहब कहकर बुलाते थे।

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