शिवपुरी। रक्षाबंधन का त्योहार हर साल सावन के महीने की पूर्णिमा को धूमधाम से मनाया जाता है.इस दिन बहनें अपने भाई की कलाई पर राखी बांधती हैं.उन्हें मिठाई खिलाती हैं.वहीं दूसरी ओर भाइयों से ये अपेक्षा की जाती है कि वे अपनी बहनों की रक्षा करें.उन्हें दुनिया की सभी बुराइयों से बचाएं.यह त्योहार भाई-बहन के अटूट प्रेम और समर्पण का प्रतीक माना जाता है.लोग बहुत दिनों पहले से ही इस त्योहार की तैयारियां शुरु कर देते हैं.बाजार रंग-बिंरगी राखियों से सजे नजर आते हैं. लेकिन क्या आपने कभी ये सोचा है कि ये त्योहार मनाया क्यों जाता है.!
निर्णय सागर पंचांग के अनुसार इस वर्ष श्रावण मास के शुक्ल पक्ष की पूर्णिमा तिथि 30 अगस्त को प्रातः 10 बजकर 59 मिनट पर प्रारंभ हो रही है और इसका समापन 31 अगस्त को प्रातः 07 बजकर 06 मिनट पर हो रहा है. !
*पं.लक्ष्मीकांत शर्मा* के अनुसार इस वर्ष रक्षाबंधन का पवित्र त्यौहार बुधवार 30अगस्त को मनाया जाएगा क्योंकि 31 अगस्त को पूर्णिमा तिथि त्रिमुहूर्ति नहीं हैं.!
*-:’रक्षाबंधन 2023 पर भद्रा का साया’:-*
विगत कई वर्षों की भाँति इस वर्ष भी रक्षाबंधन पर भद्रा का साया है.राखी वाले दिन भद्रा प्रातः 10 बजकर 59 मिनट से आरम्भ हो रही है तथा रात्रि 9 बजकर 03 मिनट पर समाप्त होगी ऐसे में जब भद्रा खत्म होगी, तब राखी बांधी जा सकेगी.यह भद्रा पृथ्वी लोक की है,इसलिए इसे नजर अंदाज नहीं कर सकते हैं.भद्रा पूंछ सायंकाल 05:16 बजे से 06:31 बजे तक है और भद्रा मुख सायंकालीन 06:31 बजे से रात्रि 08:11 बजे तक है.!
*-:’रक्षाबंधन धारण करने का (बांधने) शुभ मुहूर्त’:-*
इस वर्ष रक्षाबंधन का पावन पवित्र पर्व बुद्धवार 30 अगस्त की रात्रि 09 बजकर 03 मिनट से गुरुवार 31 अगस्त को प्रातः 07 बजकर 06 मिनट तक मनाया जा सकता है.।

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