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धमाका बड़ी खबर: गोवा, केरल और महाराष्ट्र... देश के तीन राज्यों में फैला कोरोना का सब वैरिएंट JN.1, सामने आए 21 केस

बुधवार, 20 दिसंबर 2023

/ by Vipin Shukla Mama
दिल्ली। देशभर में एक बार फिर कोरोना संक्रमण का खतरा बढ़ रहा है. कोविड-19 के सब-वेरिएंट JN.1 के अब तक 21 मामले सामने आ चुके हैं. गोवा, केरल और महाराष्ट्र में नए कोरोना वायरस वैरिएंट के मामले सामने आए हैं. जबकि गोवा में अब तक इस सब वैरिएंट के अकेले 19 मामले सामने आ चुके हैं. केरल और महाराष्ट्र में एक-एक मामले का पता चला है.
सतर्कता के लिए तैयारी बढ़ाने के निर्देश
कोरोना के ओमिक्रॉन वैरिएंट का ही सब वैरिएंट JN.1 पिछले कुछ हफ्तों में सबसे तेजी से फैलने वाले वायरस में से एक बन गया है. देश भर में कोविड के बढ़ रहे मामलों के बीच, नीति आयोग के सदस्य (स्वास्थ्य) डॉ वीके पॉल ने बुधवार को कहा कि घबराने की कोई जरूरत नहीं है. पॉल ने कहा कि भारत में वैज्ञानिक नए वैरिएंट पर कड़ी नजर रख रहे हैं. हालाँकि, वीके पॉल ने राज्यों को कोविड की तैयारी बढ़ाने, परीक्षण बढ़ाने और अपनी निगरानी प्रणालियों को मजबूत करने की आवश्यकता पर जोर दिया.
इस बीच, केंद्र ने देश भर में कोविड के मामले बढ़ने के कारण राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों को सतर्क रहने को कहा है. सलाह में राज्यों को नियमित आधार पर सभी स्वास्थ्य सुविधाओं में जिलेवार इन्फ्लूएंजा जैसी बीमारी और गंभीर तेज फैलने वाली सांस की बीमारी के मामलों की निगरानी करने और उनकी रिपोर्ट करने का निर्देश दिया गया है.
पहला केस अगस्त में लक्जमबर्ग में पाया गया
कोरोना के ओमिक्रॉन वैरिएंट का ही सब वैरिएंट JN.1 पिछले कुछ हफ्तों में सबसे तेजी से फैलने वाले वायरस में से एक बन गया है. देश भर में कोविड के बढ़ रहे मामलों के बीच, नीति आयोग के सदस्य (स्वास्थ्य) डॉ वीके पॉल ने बुधवार को कहा कि घबराने की कोई जरूरत नहीं है. कोरोना के नए सब वेरिएंट JN.1 के बारे में सामने आया है कि इसका सबसे पहला केस अगस्त में लक्जमबर्ग में पाया गया. इसके बाद यह धीरे-धीरे 36 से 40 देशों में फैल गया. 
इम्यूनिटी को कीजिए मजबूत
बीते सालों ने कोरोनो ने अपने कई रूप बदले हैं. कोरोना के वेरिएंट को रोकना हमारे कंट्रोल में नहीं है लेकिन अपनी इम्युनिटी को मजबूत कर सकते हैं. इसके लिए हम आपको खास टिप्स बताने जा रहे हैं.
स्वास्थ्य एक्सपर्ट का मानना है कि अपने आप को कोरोना संक्रमण से सुरक्षित रखने के लिए अपनी डाइट का अच्छा खासा ख्याल रखना चाहिए.स्वास्थ्य एक्सपर्ट के अनुसार इम्युनिटी पर ज्यादा ध्यान देकर कोरोना वायरस के संक्रमण के खतरे को कम किया जा सकता है. मुख्य पोषण तत्वों में हमें अपनी कैलोरी, ऑक्सीडेटिव तनाव, विटामिन, सूजन और डीटॉक्सिफिकेशन पर ध्यान देकर कोरोने संक्रमण के खतरे को कम कर सकते हैं. 
कैलोरी
अगर हम अपनी डाइट में कम कैलोरी वाले भोजन को जगह देते हैं तो इसके कारण आहार में विटामिन और खनिजों का अपर्याप्त सेवन हो सकता है, जो प्रतिरक्षा को कम करता है. कैलोरी और कार्बोहाइड्रेट में पर्याप्त आहार से प्राप्त ग्लाइकोजन से प्रतिरक्षा प्रणाली को बढ़ावा मिलता है. चीनी, गुड़, फलों के रस, घी, तेल जैसे सरल कार्बोहाइड्रेट कैलोरी के अच्छे स्रोत हैं.
Inflammation
शरीर की संक्रमण, चोटों और विषाक्त पदार्थों से लड़ने की प्रक्रिया को Inflammation कहा जाता है. जब कुछ कोशिकाओं को नुकसान पहुंचाता है, तो आपका शरीर उन रसायनों को छोड़ता है जो आपकी प्रतिरक्षा प्रणाली से प्रतिक्रिया को ट्रिगर करते हैं. ओमेगा 3 फैटी एसिड, विट ए, ई और सी, जिंक सूजन को कम करने के लिए आवश्यक हैं.
Detoxification
शरीर द्वारा बनाए गए विष को लीवर डिटॉक्सीफाई करता है. डेटॉक्स मोटे तौर पर पर्याप्त नींद पर ध्यान देने के साथ-साथ पानी की मात्रा बढ़ाने, एंटीऑक्सीडेंट से भरपूर खाद्य पदार्थ
चीनी, नमक के सेवन में कमी आदि पर केंद्रित है.जिसके द्वारा शरीर को डिटॉक्सीफाई किया जा सकता है.
Oxidative Stress
ऑक्सीडेटिव तनाव शरीर में मौजूद मुक्त कणों और एंटीऑक्सिडेंट के बीच असंतुलन पैदा करते हैं. सूक्ष्म पोषक तत्वों के रूप में एंटीऑक्सिडेंट का उपयोग बढ़े हुए ऑक्सीडेटिव तनाव से बचाने में मदद कर सकता है. सेलेनियम, विटामिन ए, ई और सी, लाइकोपीन और ल्यूटिन एंटीऑक्सिडेंट
के अच्छे स्रोत हैं. इनमें दुग्ध उत्पाद, अंडे, हरी पत्तेदार सब्जियां, खट्टे फल, बादाम, मूंगफली, आदि शामिल हैं.
Vitamins
विटामिन डी, बी 6 और जिंक शरीर में प्रतिरक्षा को बनाए रखने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाते हैं. विटामिन डी आपके शरीर को कैल्शियम और फॉस्फोरस रक्त स्तर को बनाए रखने में मदद करता है. इसके कारण सांस की बिमारियों से भी निजात मिलता है. जिंक टी-कोशिकाओं (टी-लिम्फोसाइट्स) के उत्पादन और सक्रिय करने में मदद करने के लिए पाया गया है.
Disclaimer: इस आर्टिकल में बताई विधि, तरीक़ों और सुझाव पर अमल करने से पहले डॉक्टर या संबंधित एक्सपर्ट की सलाह जरूर लें.










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