पूछा, कचोरी कैसी आलू या प्याज की
उन्होंने हलवाई की दुकान पर मीठा कुमडापाक और नमकीन में कचोरी का स्वाद चखा। जब हलवाई ने कचोरी देनी चाही तो प्रियदर्शनी ने सवाल किया की इसमें क्या है, आलू या प्याज जिस पर हलवाई ने कहा प्याज, आलू नहीं ये सादा कचोरी है। महाराज को मत बोलना वर्ना मेरी छुट्टी कर देंगे
हलवाई की दुकान पर मीठा नमकीन खाने के बाद जब प्रियदर्शनी चलने लगीं तो हलवाई से कहा महाराज को मत बताना मैने ये खाया वर्ना मेरी छुट्टी कर देंगे। ये सुनकर साथ में मोजूद पूर्व नप अध्यक्ष रविंद्र शिवहरे आदि लोग जोर से हंसते दिखाई दिए। 
MP का फेमस पान का पत्ता खिलाइए
प्रियदर्शनी सिंधिया एक पान की दुकान पर भी पहुंची। तो दुकानदार ने पान लगाना शुरू किया। जिस पर प्रियदर्शनी ने पूछा की एमपी का फेमस पत्ता कौन सा हैं। जिस पर पान वाले ने कहा देशी, जब प्रियदर्शनी बोली आपके पास हैं खिलाइए तो दुकानदार ने मना किया जिस पर प्रियदर्शनी बोलीं आपके पास नहीं हैं,
बहुत गंदी बात। लेकिन अगले ही पल दुकानदार ने एक पत्ता तारीफ करते हुए उनको खाने के लिए दिया। जिस पर प्रियदर्शनी ने कहा की महाराज ने अगर मुझे रात को टूर पर भेजा और आपकी दुकान बंद हुई तो मैं खुलवा लूंगी, ये सुनकर सभी हंसते दिखाई दिए।
जब खरीदा ट्रेक्टर
एक खिलोने की दुकान पर भी प्रियदर्शनी पहुंची और खिलोने देखने के बाद एक ट्रेक्टर खरीदा। कुल मिलाकर सिंधिया परिवार राजनीति के इस समर में बिल्कुल
सहज अंदाज में बिना धूप, गर्मी की परवाह किए प्रचार में जुटा हुआ हैं। लोगों को भी जनसेवा के लिए राजनीति करने वाला ये परिवार खूब रास आ रहा हैं।

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